दिनांक 23 मार्च को नोएडा में मारवाह स्टूडियोज के प्रांगण में भारत के क्रांतिकारी वीर सपूत भगत सिंह, राजगुरु और सुखदेव की 91वीं पुण्यतिथि, शहीद भगत सिंह फोरम के अंतर्गत मनाई गई। इस मौके पर भगत सिंह के जीवन से जुड़ी हुई घटनाओं का न केवल जिक्र हुआ बल्कि उनकी फांसी दिए जाने वाले दिन को नम आंखों से याद किया गया।
इस मौके पर ए. ए. एफ. टी. यूनिवर्सिटी ऑफ मीडिया एंड आर्ट्स के चांसलर और शहीद भगत सिंह फोरम के अध्यक्ष डॉ संदीप मारवाह ने कहा की " महान क्रांतिकारी भगत सिंह, राजगुरु और सुखदेव को जितना याद किया जाए उतना कम है। उनकी याद में हम कितने भी आंसू बहाए कम हैं। उन्होंने वतन के लिए जो किया है इसके लिए उन्हें युगों युगों तक याद किया जाएगा।"
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि एवं अध्यक्षता कर रहे माननीय राज्य सभा सांसद, रामचंद्र जांगड़ा जी ने कहा " की सवाल ये उठता हैं की कैसे बेखौफ होकर अंग्रेज हमारे वीर सपूतों को फांसी दे पाए? क्यों तमाम विदेशी आक्रांता भारत में आए और मार काट करते हुए लूटकर चलते बने? आखिर क्या कारण रहा की हमने नौ सौ सालों की गुलामी झेली।" इसके बाद उन्होंने अपने वक्तव्य में परत दर परत बातें खोली और भारत उन दिनों के इतिहास से परिचित कराया।
कार्यक्रम में सम्मिलित वक्ताओं में नोएडा के पूर्व चेयरमैन देवदत्त शर्मा, लोकनायक जयप्रकाश नारायण ट्रस्ट के अध्यक्ष अभय सिन्हा, वरिष्ठ पत्रकार रवि पाराशर, नरेश मुदगिल और वरिष्ठ पत्रकार दिनेश गौड़ समेत सभी ने अपने अपने विचारों से अवगत कराया।
शहीद भगत सिंह फोरम के महासचिव सुशील भारती ने कार्यक्रम को एक सूत्र में पिरोया और तीनों क्रातिकारियों के जीवन से जुड़ी तमाम महत्वपूर्ण घटनाओं का भी जिक्र किया। कार्यक्रम के अंत में शहीद भगत सिंह फोरम के अध्यक्ष डॉ संदीप मारवाह ने सभी वक्ताओं और प्रतिभागियों को फोरम की सदस्यता से नवाजा।